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लाल बहादुर शास्त्री प्रशासनिक अकादमी के अंतिम दिन की शुरूआत योगा शिविर से हुई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की उपस्थिति में मुख्य सचिव एसएस संधू व तमाम वरिष्ठ अधिकारियों ने योग किया। अकादमी के कालिंदी ग्राउंड में योग शिविर का आयोजन किया गया। इस अवसर पर योग प्रशिक्षकों के द्वारा सभी को योग के विभिन्न आसन कराए गए। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सहित अधिकारियों ने योग के आसनों का अभ्यास किया।

योगा क्लास से पहले गुरुवार को मॉर्निंग वॉक पर निकले सीएम धामी का अंदाज खूब छाया। मसूरी लाल बहादुर शास्त्री प्रशासनिक अकादमी में चल रहे चिंतन शिविर से पहले मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अकादमी परिसर के अंदर ही मॉर्निंग वॉक की।

इस दौरान वह अकादमी के गेट तक गए और यहां सुरक्षा में तैनात आईटीबीपी के जवानों से मुलाकात कर उनकी कुशलक्षेम पूछी। इस दौरान रास्ते में मिले लोगों का वह अभिवादन स्वीकार करते रहे। इसके बाद मुख्यमंत्री ने अकादमी परिसर में भी राउंड लगाया और यहां स्थापित पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की प्रतिमा के पास पहुंचकर नमन किया।

इससे पहले बुधवार को भी मसूरी स्थित लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी में चल रहे चिंतन शिविर में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी अचानक पहुंच गए। सीएम ने सरदार पटेल भवन सभागार में सबसे पीछे की कुर्सी पर बैठकर अधिकारियों के विचारों को सुना
मुख्यमंत्री के आने का कोई कार्यक्रम नहीं था। पहले से तय कार्यक्रम के अनुसार अकादमी के सरदार पटेल सभागार में नौकरशाह बारी-बारी से अपने-अपने विभागों का प्रस्तुतिकरण दे रहे थे।

विशेषज्ञ और अधिकारियों के बीच जब संवाद और मंथन चरम पर था, तभी मुख्यमंत्री की एंट्री हुई। सीएम के अचानक शिविर में आने से सब चौंक गए।

सीधे मंच की ओर जाने के बजाय सीएम सबसे पिछली पंक्ति की उस सीट पर बैठे जहां नौजवान आईएएस आशीष चौहान और वंदना सिंह बैठे थे।

पूरी खामोशी के साथ एक जिज्ञासु श्रोता की तरह उन्होंने नौकरशाहों के व्याख्यानों और विकास के एजेंडे पर उनके बीच की चर्चा को सुना।

सत्र का समापन होने पर मुख्य सचिव ने मुख्यमंत्री के पास पहुंचकर बताया कि शिविर में राज्य के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण सुझाव आए हैं। इस पर सीएम ने कहा कि ये सुझाव सिर्फ सुझाव तक सीमित नहीं रहने चाहिए। इनका एक रोडमैप तैयार होना चाहिए।