रायपुर, मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के निर्देश पर सभी क्वारेंटाईन सेंटरों में गर्भवती माताओं, बच्चों और वृद्धजनों के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है। इसी कड़ी में प्रदेश के बिलासपुर जिले के ग्राम केसला में प्रवासी गर्भवती महिलाओं के लिए प्रदेश का पहला पृथक से क्वारेंटाईन सेंटर शुरू किया गया है। इस क्वारेंटाईन सेंटर में राज्य के बाहर से वापस लौंटी प्रवासी महिला श्रमिक जो गर्भवती है, उनकों ठहराया गया है ताकि उनकी बेहतर तरीके से देखभाल हो सके।

गौरतलब है कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल क्वारेंटाईन सेंटरों की व्यवस्था को लेकर बेहद गंभीर है और स्वयं इसकी सतत् मॉनिटरिंग भी कर रहे है। श्री बघेल गत दिवस प्रदेश के विभिन्न जिलों के क्वारेंटाईन सेंटरों में रह रहे श्रमिकों, महिलाओं, गांव के संरपचों और जिला कलेक्टरों से बातचीत कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया था। बिलासपुर जिले के ग्राम केसला में गर्भवती माताओं के लिए वहां स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में अलग से क्वारेंटाईन सेंटर बनाया गया है।

यह प्रदेश का पहला ऐसा क्वारेंटाईन सेंटर है जिसमें सिर्फ गर्भवती महिलाओं को रखा गया है। वर्तमान में इस सेंटर में 8 महिलाएं रूकी हुई हैं। जिनके लिये सभी तरह की आवश्यक व्यवस्था यहां उपलब्ध करायी जा रही है। इस क्वारेंटाईन सेंटर में महिला डॉक्टर एवं स्टाफ नर्स तैनात किए गए है जो निर्धारित गाईडगाईन के अनुसार स्वयं और इन महिलाओं की सोशल डिस्टेसिंग, मास्क, फेसशील्ड और अन्य जरूरी सावधानियों के साथ चिकित्सा सुविधा प्रदान कर रही हैं। यहां पर गर्भवती महिलाओं को विशेष देखभाल के साथ-साथ उन्हें स्वच्छता और हाईजिन के लिये भी प्रेरित किया जा रहा है।

सभी महिलाओं के स्वास्थ्य जांच के साथ ही कोरोना जांच के लिये उनके सैम्पल लिए गए है। यहां गर्भवती महिलाओं को पौष्टिक भोजन, चाय, नाश्ता उपलब्ध कराया जा रहा है। संक्रमण से दूर रखने के लिये क्वारेंटाईन सेंटर में 24 घंटे में तीन बार साफ-सफाई की जा रही है। इस क्वारेंटाईन सेंटर की प्रभारी डॉ. प्रिया रावत ने बताया कि गर्भवती माताओं को मास्क की उपयोगिता, स्वयं तथा उनके गर्भ में पल रहे शिशुओं की समुचित देखभाल हेतु जरूरी सलाह दी जा रही है। इन महिलाओं का टीकाकरण भी किया गया है जिससे उनके तथा गर्भस्थ शिशु को बीमारियों से मुक्त रखा जा सके। इस सेंटर में महिलाएं खुशी-खुशी रहकर अपना क्वारेंटाईन अवधि पूरी कर रही हंै।