बरेली से योगेंद्र सिंह देहरादून से वीएस चौहान की रिपोर्ट
प्रतिभा किसी एक की गुलाम नहीं होती हर व्यक्ति में कुछ ना कुछ प्रतिभा होती है। बस जरूरत होती है कि आप अपने अंदर छिपी प्रतिभा को पहचान ले ।और आप अपने अंदर की प्रतिभा को कितना निखार सकते हैं। यह आपके अपने ऊपर निर्भर करता है और इंसान की पहचान उसके कद से नहीं होती है। उस व्यक्ति की काबिलियत ही उसकी पहचान होती है। एक ऐसी ही कहानी उत्तराखंड के देहरादून से है। देहरादून की रहने वाली आरती डोगरा का कद 3 फुट 3 इंच का है। लेकिन उन्होंने अपने छोटे कद से हार नहीं मानी। बल्कि उनके काम और उनकी काबिलियत की बदौलत उनका कद बहुत ऊंचा है । उनसे हमें आत्मा निर्भर बनने की प्रेरणा मिलती है। वह एक अपने आप में एक मिसाल है।
आरती डोगरा 2006 बैच के आईएएस ऑफिसर है ।आरती डोगरा का जन्म उत्तराखंड के देहरादून जिले में विजय कॉलोनी में श्री राजेंद्र डोगरा के घर में हुआ था। श्री राजेंद्र डोगरा आर्मी में कर्नल के पद पर थे उनकी माता कुमकुम एक स्कूल में अध्यापक के पद पर थी। आरती डोगरा के जन्म के समय डॉक्टर ने उनके माता-पिता को उनकी शारीरिक स्थिति के बारे में बता दिया था उनके माता-पिता ने भविष्य में संतान न करने का फैसला ले लिया ।और उन्होंने आरती डोगरा के लालन पालन पोषण और उनकी पढ़ाई पर विशेष ध्यान दिया। पढ़ाई के लिए हर सुविधा प्रदान की डोगरा की पढ़ाई देहरादून के नामी स्कूल वेल्हम गर्ल्स स्कूल में हुई। इसके बाद आरती डोगरा ने इकोनॉमिक्स में दिल्ली के लेडी श्रीराम स्कूल में ग्रेजुएशन किया । ग्रेजुएशन करने के बाद वह वापस देहरादून आ गई। देहरादून में उनकी मुलाकात आईएएस ऑफिसर मनीषा पवार से हुई। मनीषा पवार से मिलने के बाद उन्होंने उनको अपनी प्रेरणा बना लिया और जमकर आईएएस की तैयारी की। और पहले ही प्रयास में उन्होंने आईएएस के एग्जाम में सफलता हासिल कर ली।
उनके आईएस बनने के बाद को पहली नियुक्ति राजस्थान में मिली। आरती डोगरा राजस्थान के जोधपुर में निदेशक के पद पर नियुक्त होने वाली पहली महिला आईएएस है। आरती डोगरा को डिस्कॉम की मैनेजिंग डायरेक्टर के बाद अजमेर के जिला अधिकारी की जिम्मेदारी सौंपी गई। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में खुले में शौच से मुक्ति के लिए एक अभियान चलाया। इस अभियान से संबंधित उनके स्वच्छता मॉडल ‘बंको बिकानों’ पर पीएम मोदी ने भी उनकी खूब तारीफ की ।आरती डोगरा अब तक कई जिलों में कलेक्टर पद और कई विभागों में विभिन्न पदों पर रह चुकी हैं।आरती डोगरा को कई दफा अपने छोटे कद को लेकर आलोचना आत्मक कमेंट सुनने को मिले । लेकिन उन्होंने इन कमैंट्स पर कभी ध्यान नहीं दिया ना ही वे विचलित हुई बल्कि सफल होकर एक मिसाल कायम की। हमें ऐसे जज्बे को सैल्यूट करना चाहिए और प्रेरणा लेनी चाहिए। जीवन में कोई भी काम मुश्किल नहीं होता है।या कहे कोई भी काम असंभव नहीं होता है । बस जरूरत होती है । आपको अपने अंदर छुपी हुई प्रतिभा को निखारने की। और आपका विश्वास और निश्चय दृढ़ हो। आपको सफलता जरूर मिलेगी।